छोड़ो सब बेकार की बातें,आओ अब कुछ पेड़ लगायें। छाया होगी,फूल खिलेंगें,फल आयेंगे सब मिल खायें।। अपनी सीमा उतनी ही है,दूजे की हो शुरू जहां से। हम-तुम समझें पहले इसको,फिर ...
रानी अवंतीबाई भारत के प्रथम स्वाधीनता संग्राम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाने वाली वीरांगना थीं। 1857 की क्रांति में रामगढ़ की रानी अवंतीबाई रेवांचल में मुक्ति आंदोलन की सूत्रधार थी। 1857 के मुक्ति ...
जीवन में निरंतर प्रगति हेतु अनुशासन एक सशक्त यंत्र है | चाहें तो इसे आप मन्त्र भी कह सकते हैं | अध्यात्म की भाषा में बात की जाय तो अनुशासन अध्यात्म का ...
आलू को सब्जियों का राजा माना जाता है,अब खुद ही देख लो कभी आलू-टमाटर तो कभी आलू-गोभी तो कभी आलू-परवल तो कभी और कुछ। मतलब जिंदगी में हर तरफ आलू ही आलू। ...
‘सन्देह के दायरे’ डॉ. जयशंकर शुक्ल द्वारा लिखित कुल चार कहानी संग्रहों बेबसी, सन्देह के दायरे, भरोसे की आँच, तथा आँगन की धूप में से एक उकृष्ट रोचक एवं पठनीय ...